Narendra Modi Biography in Hindi नरेंद्र मोदी का जीवन परिचय

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Narendra Modi Biography in Hindi

आज नरेंद्र मोदी ने बच्चे-बच्चे में देश के प्रति कुछ कर कराने की भावना पैदा की है। नरेंद्र मोदी का जीवन बहुत ही साधारण तरीके से व्यतीत हुआ है, मगर उन्होंने अपनी मेहनत और निष्ठा से असाधारण सफलताये हासिल की है। भारत की आजादी के 3 वर्ष बाद, गुजरात के छोटे से कस्बे वडनगर में मोदी का जन्म हुआ। दामोदरदास मोदी और हीरा मोदी की छह संतानों में से मोदी उनकी तीसरी संतान है। उनका परिवार बहुत गरीब था और एक कच्चे मकान में रहता था। दो वक्त की रोटी भी बहुत मुश्किल से मिलती थी। नरेंद्र मोदी की मां आस पड़ोस में बर्तन साफ करती थी ताकि अपने बच्चों का पालन पोषण कर सकें। मोदी बचपन में ही अपने पिता की दुकान में उनके साथ हाथ बटाते और चाय बेचते। उनके पिता रेलवे स्टेशन पर एक चाय की छोटी सी दुकान चलाते थे और रेल के डिब्बों में चाय बेचते थे। इन संघर्ष वाले दिनों में मोदी पर उनका बहुत बड़ा प्रभाव पड़ा। चाय की दुकान संभालने के साथ-साथ मोदी अपनी पढ़ाई-लिखाई का भी पूरा ध्यान रखते थे। मोदी को पढ़ने का बहुत शौक था और वह अपने स्कूल के पुस्तकालय में घंटो बिता दिया करते थे। उनके सहपाठी और शिक्षक बताते हैं कि मोदी शुरू से ही एक कुशल व्यक्ति थे और उनमें नेतृत्व करने की एक अद्भुत कला थी। वह नाटकों और भाषणों में जमकर हिस्सा लेते थे।

मोदी बचपन से ही बहुत बहादुर थे। एक बार वह मगरमच्छ के बच्चे को हाथ में पकड़ कर घर ले जाए और उनकी माता ने उन्हें समझाया कि कोई अगर तुम्हें उठा कर ले जाए तो मुझे कितनी तकलीफ होगी। मोदी यह बात समझ आ आयी और वे मगरमच्छ के बच्चे को तालाब में वापिस छोड़ आए, जहां से उन्होंने उसे उठाया था।

बचपन से ही मोदी में देशभक्ति कूट-कूट कर भरी थी। 1962 में भारत-चीन युद्ध के दौरान, मोदी रेलवे स्टेशन पर जवानों से भरी ट्रेन मैं खाना और चाय लेकर जाते थे। 1965 भारत-पाकिस्तान युद्ध के दौरान भी मोदी ने जवानों की खूब सेवा की थी।

युवा नरेंद्र मोदी पर स्वामी विवेकानंद का बहुत असर पड़ा। उन्होंने स्वामी जी के कार्य का अच्छी तरह से अध्ययन किया, जिनमें उन्होंने उनके जीवन के रहस्य की खोज की तरफ उन्हें आकर्षित किया जिसके बाद मोदी ने त्याग और देशभक्ति की भावना को एक नई उड़ान दी। 17 साल की छोटी उम्र में ही नरेंद्र मोदी ने घर छोड़ दिया और अपना अपनी आध्यात्मिक यात्रा शुरू की। उन्होंने हिमालय में ऋषिकेश और बंगाल में रामकृष्ण आश्रम तथा पूर्वोत्तर भारत की यात्रा की। 2 वर्ष के बाद वह घर लौट आए। इन यात्राओं से उन्हें स्वामी विवेकानंद को और गहरायी से जानने का सौभाग्य मिला, जिसने उनको पूरी तरह बदल दिया। जब वह घर लौटे तो उनका मकसद स्पष्ट था “राष्ट्र की सेवा”।

1972 में मोदी RSS के प्रचारक बन गए और अपना सारा समय RSS को देने लगे। वह सुबह 5:00 बजे उठ जाते और देर रात तक काम करते। इस व्यस्त दिनचर्या के बावजूद उन्होंने अपनी शिक्षा पूरी की और राजनीति विज्ञान में डिग्री हासिल की। प्रचारक होने के नाते मोदी ने गुजरात के विभिन्न हिस्सों का भ्रमण किया और लोगों की समस्या को करीब से समझा। 1975 में जब देश में आपात कालीन के काले बादल छाए थे तब RSS जैसी संस्थाओं पर प्रतिबंध लगा दिया गया था। फिर भी मोदी अपना भेष बदल कर देश की सेवा करते रहे और सरकार की गलत नीतियों का विरोध किया। RSS में बेहतरीन काम की बदौलत उन्हें बीजेपी में नियुक्त किया गया। नरेंद्र मोदी ने 1990 में आडवाणी की “अयोध्या रथ यात्रा” का भव्य आयोजन किया, जिससे बीजेपी के बड़े नेता काफी प्रभावित हुए। उनके अद्भुत कार्य की बदौलत बीजेपी में उनका सतर बढ़ता रहा।

सन 2001 , गुजरात में भयानक भूकंप आया और पूरे गुजरात में भारी नुकसान हुआ। गुजरात सरकार की राहत कार्य से नाखुश होकर बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं ने नरेंद्र मोदी को गुजरात का मुख्यमंत्री घोषित किया। मोदी ने काफी कुशलता से राहत कार्य संघाला और गुजरात को फिर से मजबूत कर दिया। मोदी ने गुजरात को भारत का सबसे बेहतरीन राज्य बना दिया। उन्होंने गांव गांव तक बिजली पहुंचाई। देश में पहली बार किसी राज्य की सभी नदियों को जोड़ा गया, जिससे सभी राज्य में पानी की कमी दूर हुई। एशिया की सबसे बड़ी सोलर प्लांट का निर्माण गुजरात में हुआ। गुजरात के सभी गांवो को इंटरनेट की सेवा से जोड़ा गया और टूरिज्म को बढ़ावा दिया गया। मोदी के कार्यकाल में गुजरात की बेरोजगारी काफी कम हुई और महिलाओं की सुरक्षा में काफी मजबूती आई। इन्ही कारणों की वजह से गुजरात की जनता ने नरेंद्र मोदी को चार बार लगातार अपना मुख्यमंत्री नियुक्ति किया।

गुजरात में नरेंद्र मोदी की सफलता देखकर बीजेपी के बड़े नेताओं ने नरेंद्र मोदी को 2014 के लोकसभा चुनाव में प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया। मोदी ने पूरे भारत में अनेक रैलियां कि जिन में हजारों लोग उन्हें सुनने आते। मोदी ने सोशल मीडिया का भी भरपूर लाभ उठाया और लाखों लोगों तक अपनी बात रखी। मोदी के गुजरात में विकास कार्य, प्रेरणादायक भाषण, देश के प्रति उनका प्यार, उनकी साधारण शुरुआत और उनकी सकारात्मक सोच के कारण उन्हें भारी मात्रा में वोट मिले और वह भारत के 14 ‘वे प्रधानमंत्री बन गए। प्रधान मंत्री बनने के बाद मोदी विदेशो में भारत का कुशलता से नेतृत्व कर रहे हैं। उन्होंने कई विदेश यात्राएं की और उन्होंने पूरे विष्व भर में भारत की शवि बहुत मजबूत की, जिसकी वजह से विदेशियों द्वारा भारत में काफी निवेश हुआ।

मोदी ने जनधन योजना, स्वच्छ भारत अभियान, मेक इन इंडिया और डिजिटल इंडिया जैसी कई योजनाओं की शुरुआत की, जिससे भारत में काफी विकास हो रहा है। नरेंद्र मोदी बहुत ही मेहनती व्यक्ति हैं। वह 18 घंटे काम करते हैं और कुछ ही घंटे सोते हैं। वह शुद्ध शाकाहारी है और नवरात्रि के दिनों में 9 दिनों का उपवास भी रखते हैं। मोदी अपनी सेहत का भरपूर ध्यान रखते हैं और प्रतिदिन सुबह योग करते हैं। मोदी हमेशा साफ कपड़े पहनते हैं और लोग उन्हें फैशन आइकन के रूप में देखते हैं। नेता होने के इलावा मोदी एक कवि और लेखक भी हैं। वह अपने कविताओं से और अपने भाषणों से सभी युवाओं का मनोबल बढ़ाते हैं और उनमें देशभक्ति की भावना जलाते हैं।

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