Difference Between City Life Vs Village Life Essay in Hindi Language

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Difference Between City Life Vs Village Life Essay in Hindi Language

गांव के जीवन और शहर के जीवन के बीच बहुत सारे अंतर है क्योकि इन दोनों के महोल एक दूसरे से बेहद अलग है। दोनों की जगहों के अपने-अपने फायदे और अपने-अपने नुक्सान है। इस अनुच्छेद के माध्यम से हम इन दोनों ग्रामीण जीवन और शहर के जीवन के अंतरो की जाँच करेंगे।

भारत एक कृषि आधारित देश है जहां किसान ग्रामीण अर्थव्यवस्था को रीढ़ माना जाता है। किसान बहुत व्यस्त जीवन नहीं जीते, किसान अपने खेतों में अनाज और सब्जियां उगाने से लेकर उनकी सच्चाई के लिए तालाबों और नहरों में पानी के संरक्षण करते हैं। शहरी लोगों के मुकाबले इन किसानों की बात करें तो यह लोग प्रकृति के बेहद करीब होते हैं। शांत सुभाव के ग्रामीण लोग एक दूसरे को अच्छी तरह से जानते है और दूसरों के साथ घनिष्ठ संबंध विकसित करते हैं। शहर के मुकाबले ग्रामीण क्षेत्र में ज्यादा सुविधाएं न होने के कारन ग्रामीण लोग एक दूसरे की बहुत मदद करते है। ऐसा नहीं कि परेशानियां सिर्फ शहरी लोगों को ही है, गांव के लोगों की भी अपनी समस्याएं हैं। गांव के लोग अक्सर भूमि के मालिकाना हक और जाति से संबंधित झगड़े होते रहते है। गांव में शिक्षा, रोजगार, स्वास्थ्य, परिवहन और बिजली जैसे बुनियादी मुद्दे सुविधाओं का भी अभाव है।

विकास के कारन शहरों की स्तिथि ग्रामीण क्षेत्र के मुकाबले बहुत बेहतर है। शहर के जीवन में कई सारी सुविधाएं उपलब्ध हैं, जैसे कि स्कूल, कॉलेज, हस्पताल, सिनेमा घर, बैंक, व्यापार आदि बहुत कुछ। शहरों में ज्यादा जनसख्या होने के कारन यहा विभिन्न प्रकार के प्रदूषण जैसे कि शोर प्रदूषण, दृश्य प्रदूषण और वायु प्रदूषण शामिल है। शहरों में लोग हर वक्त समय को पकड़ने के लिए उसके पीछे भागते रहते हैं। शहरों में सिर्फ अच्छा प्रदर्शन करने का ही दिमाग में जबरदस्त तनाव बना रहता है, जिस वजह से शहर के लोगो को बहुत सारी स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां झेलनी पड़ती हैं। आज कल शहरों के लोगों को अपने मित्र और रिश्तेदार की बात तो छोड़िए अपने माता-पिता को मिलने तक के लिए भी समय नहीं है। जैसे-जैसे शहर के लोगों की आवश्यकताएं और लागत बढ़ती जा रही है, वैसे-वैसे उनके आपसी संबंध और भी दूर होते जा रहे हैं। शहरी लोगों के दिमाग में सिर्फ धन ही बसता है जबकि शांति उनके दिमाग से बहुत कोसों दूर है।

अंत आप चाहे शहर में रहें या गांव में आपको अपने जीवन में सही संतुलन और उद्देश्य बहाल करने की जरूरत है।

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